भारत और इंग्लैंड के बीच दूसरे टेस्ट के दूसरे दिन (3 जुलाई 2025) में जहां रविंद्र जडेजा ने बल्ले से अहम पारी खेली, वहीं उन्होंने एक ऐसा काम भी किया जो BCCI की नई SOP (Standard Operating Procedures) के खिलाफ था। उन्होंने टीम की बस से न जाकर अलग से मैदान पहुँचना चुना और वहां अतिरिक्त नेट अभ्यास किया।
SOP उल्लंघन की पृष्ठभूमि
BCCI ने हाल ही में 10-बिंदु SOP जारी किया था, जिसमें साफ निर्देश था कि सभी खिलाड़ी एक साथ टीम बस में यात्रा करेंगे और व्यक्तिगत अभ्यास के लिए समय से पहले मैदान पर नहीं पहुंचेंगे। इसका उद्देश्य एकजुटता और अनुशासन बनाए रखना है।
क्यों किया नियम उल्लंघन?
जडेजा ने बताया कि उन्होंने अतिरिक्त नेट सेशन इसलिए किया क्योंकि इंग्लैंड की पिचों पर गेंद स्विंग करती है और उन्हें जल्द ही मैच की परिस्थितियों में ढलना था।
उनके शब्दों में:
“मुझे लगा कि गेंद अभी भी नई है, इसलिए पहले जाकर अभ्यास करने से मुझे लय में आने में मदद मिलेगी।”
उन्होंने शुबमन गिल के साथ मिलकर 203 रनों की साझेदारी की और खुद 89 रनों की अहम पारी खेली।
प्रदर्शन की परिणति
इस अतिरिक्त अभ्यास के बाद जडेजा ने बेहतरीन बल्लेबाजी की, जिससे भारत की पारी 587 रन तक पहुंची।
उनकी रणनीति टीम को एक मजबूत स्थिति में पहुंचाने में सफल रही, खासकर तब जब दिन की शुरुआत 211/5 से हुई थी।
सज़ा की संभावना?
हालांकि यह SOP का तकनीकी उल्लंघन था, लेकिन टीम प्रबंधन इसे अनुशासनहीनता के रूप में नहीं देख रहा।
सूत्रों के अनुसार, जडेजा का इरादा सिर्फ बेहतर प्रदर्शन करना था, और चूंकि उन्होंने टीम के लिए बड़ा योगदान दिया, इसलिए उन पर किसी दंड की संभावना नहीं है।
यह घटना क्या दर्शाती है?
- अनुशासन बनाम प्रदर्शन — जब खिलाड़ी की तैयारी से टीम को फायदा हो, तब नियमों में लचीलापन दिखाना पड़ सकता है।
- टीम प्रबंधन की सोच — केवल नियमों का पालन करवाने की बजाय, परिणामों को देखते हुए निर्णय लेना अधिक व्यावहारिक है।
- नियमों की व्याख्या — SOP किसी बाध्यता की तरह नहीं बल्कि एक मार्गदर्शन हो सकता है, विशेषकर जब खिलाड़ी सीनियर और ज़िम्मेदार हो।
निष्कर्ष
रविंद्र जडेजा का SOP उल्लंघन तकनीकी रूप से नियम विरुद्ध था, लेकिन उनका इरादा और प्रदर्शन इसे सही ठहराता है।
यह उदाहरण दिखाता है कि नियमों का पालन महत्वपूर्ण है, लेकिन जब बात टीम हित और परिणामों की हो, तो समझदारी से लिया गया अपवाद भी स्वीकार्य हो सकता है।